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وَاِذَا قَرَأْتَ الْقُرْاٰنَ جَعَلْنَا بَيْنَكَ وَبَيْنَ الَّذِيْنَ لَا يُؤْمِنُوْنَ بِالْاٰخِرَةِ حِجَابًا مَّسْتُوْرًاۙ   ( الإسراء: ٤٥ )

And when
وَإِذَا
और जब
you recite
قَرَأْتَ
पढ़ते हैं आप
the Quran
ٱلْقُرْءَانَ
क़ुरआन
We place
جَعَلْنَا
बना देते है हम
between you
بَيْنَكَ
दर्मियान आपके
and between
وَبَيْنَ
और दर्मियान
those who
ٱلَّذِينَ
उन लोगों के जो
(do) not
لَا
नहीं वो ईमान रखते
believe
يُؤْمِنُونَ
नहीं वो ईमान रखते
in the Hereafter
بِٱلْءَاخِرَةِ
आख़िरत पर
a barrier
حِجَابًا
एक पर्दा
hidden
مَّسْتُورًا
छुपा हुआ

Waitha qarata alqurana ja'alna baynaka wabayna allatheena la yuminoona bialakhirati hijaban mastooran (al-ʾIsrāʾ 17:45)

Muhammad Faruq Khan Sultanpuri & Muhammad Ahmed:

जब तुम क़ुरआन पढ़ते हो तो हम तुम्हारे और उन लोगों के बीच, जो आख़िरत को नहीं मानते एक अदृश्य पर्दे की आड़ कर देते है

English Sahih:

And when you recite the Quran, We put between you and those who do not believe in the Hereafter a concealed partition. ([17] Al-Isra : 45)

1 Suhel Farooq Khan/Saifur Rahman Nadwi

और जब तुम क़ुरान पढ़ते हो तो हम तुम्हारे और उन लोगों के दरमियान जो आख़िरत का यक़ीन नहीं रखते एक गहरा पर्दा डाल देते हैं