Skip to main content

تَاللّٰهِ لَقَدْ اَرْسَلْنَآ اِلٰٓى اُمَمٍ مِّنْ قَبْلِكَ فَزَيَّنَ لَهُمُ الشَّيْطٰنُ اَعْمَالَهُمْ فَهُوَ وَلِيُّهُمُ الْيَوْمَ وَلَهُمْ عَذَابٌ اَلِيْمٌ   ( النحل: ٦٣ )

By Allah
تَٱللَّهِ
क़सम अल्लाह की
certainly
لَقَدْ
अलबत्ता तहक़ीक़
We have sent
أَرْسَلْنَآ
भेजा हमने (रसूलों को)
to
إِلَىٰٓ
तरफ़ कुछ क़ौमों के
nations
أُمَمٍ
तरफ़ कुछ क़ौमों के
before you
مِّن
आपसे पहले
before you
قَبْلِكَ
आपसे पहले
but made fair-seeming
فَزَيَّنَ
तो मुज़य्यन कर दिया
to them
لَهُمُ
उनके लिए
the Shaitaan
ٱلشَّيْطَٰنُ
शैतान ने
their deeds
أَعْمَٰلَهُمْ
उनके आमाल को
So he
فَهُوَ
पस वो ही
(is) their ally
وَلِيُّهُمُ
दोस्त है उनका
today
ٱلْيَوْمَ
आज
and for them
وَلَهُمْ
और उनके लिए
(is) a punishment
عَذَابٌ
अज़ाब है
painful
أَلِيمٌ
दर्दनाक

TaAllahi laqad arsalna ila omamin min qablika fazayyana lahumu alshshaytanu a'malahum fahuwa waliyyuhumu alyawma walahum 'athabun aleemun (an-Naḥl 16:63)

Muhammad Faruq Khan Sultanpuri & Muhammad Ahmed:

अल्लाह की सौगंध! हम तुमसे पहले भी कितने समुदायों की ओर रसूल भेज चुके है, किन्तु शैतान ने उनकी करतूतों को उनके लिए सुहावना बना दिया। तो वही आज भी उनका संरक्षक है। उनके लिए तो एक दुखद यातना है

English Sahih:

By Allah, We did certainly send [messengers] to nations before you, but Satan made their deeds attractive to them. And he is their [i.e., the disbelievers] ally today [as well], and they will have a painful punishment. ([16] An-Nahl : 63)

1 Suhel Farooq Khan/Saifur Rahman Nadwi

(ऐ रसूल) ख़ुदा की (अपनी) कसम तुमसे पहले उम्मतों के पास बहुतेरे पैग़म्बर भेजे तो शैतान ने उनकी कारस्तानियों को उम्दा कर दिखाया तो वही (शैतान) आज भी उन लोगों का सरपरस्त बना हुआ है हालॉकि उनके वास्ते दर्दनाक अज़ाब है