وَكَذٰلِكَ زَيَّنَ لِكَثِيْرٍ مِّنَ الْمُشْرِكِيْنَ قَتْلَ اَوْلَادِهِمْ شُرَكَاۤؤُهُمْ لِيُرْدُوْهُمْ وَلِيَلْبِسُوْا عَلَيْهِمْ دِيْنَهُمْۗ وَلَوْ شَاۤءَ اللّٰهُ مَا فَعَلُوْهُ فَذَرْهُمْ وَمَا يَفْتَرُوْنَ ( الأنعام: ١٣٧ )
Wakathalika zayyana likatheerin mina almushrikeena qatla awladihim shurakaohum liyurdoohum waliyalbisoo 'alayhim deenahum walaw shaa Allahu ma fa'aloohu fatharhum wama yaftaroona (al-ʾAnʿām 6:137)
Muhammad Faruq Khan Sultanpuri & Muhammad Ahmed:
इसी प्रकार बहुत-से बहुदेववादियों के लिए उनके लिए साझीदारों ने उनकी अपनी सन्तान की हत्या को सुहाना बना दिया है, ताकि उन्हें विनष्ट कर दें और उनके लिए उनके धर्म को संदिग्ध बना दें। यदि अल्लाह चाहता तो वे ऐसा न करते; तो छोड़ दो उन्हें और उनके झूठ घड़ने को
English Sahih:
And likewise, to many of the polytheists their partners have made [to seem] pleasing the killing of their children in order to bring about their destruction and to cover them with confusion in their religion. And if Allah had willed, they would not have done so. So leave them and that which they invent. ([6] Al-An'am : 137)
1 Suhel Farooq Khan/Saifur Rahman Nadwi
ताकि उन्हें (बदी) हलाकत में डाल दें और उनके सच्चे दीन को उन पर मिला जुला दें और अगर ख़ुदा चाहता तो लोग ऐसा काम न करते तो तुम (ऐ रसूल) और उनकी इफ़तेरा परदाज़ियों को (ख़ुदा पर) छोड़ दो और ये लोग अपने ख्याल के मुवाफिक कहने लगे कि ये चौपाए और ये खेती अछूती है