وَجَاۤءَتْ سَيَّارَةٌ فَاَرْسَلُوْا وَارِدَهُمْ فَاَدْلٰى دَلْوَهٗ ۗقَالَ يٰبُشْرٰى هٰذَا غُلٰمٌ ۗوَاَسَرُّوْهُ بِضَاعَةً ۗوَاللّٰهُ عَلِيْمٌ ۢبِمَا يَعْمَلُوْنَ ( يوسف: ١٩ )
Wajaat sayyaratun faarsaloo waridahum faadla dalwahu qala ya bushra hatha ghulamun waasarroohu bida'atan waAllahu 'aleemun bima ya'maloona (Yūsuf 12:19)
Muhammad Faruq Khan Sultanpuri & Muhammad Ahmed:
एक क़ाफ़िला आया। फिर उसने पनिहारा को भेजा। उसने अपना डोल ज्यों ही डाला तो पुकार उठा, 'अरे! कितनी ख़ुशी की बात है। यह तो एक लड़का है।' उन्होंने उसे व्यापार का माल समझकर छुपा लिया। किन्तु जो कुछ वे कर रहे थे, अल्लाह तो उसे जानता ही था
English Sahih:
And there came a company of travelers; then they sent their water drawer, and he let down his bucket. He said, "Good news! Here is a boy." And they concealed him, [taking him] as merchandise; and Allah was Knowing of what they did. ([12] Yusuf : 19)
1 Suhel Farooq Khan/Saifur Rahman Nadwi
और (ख़ुदा की शान देखो) एक काफ़ला (वहाँ) आकर उतरा उन लोगों ने अपने सक्के (पानी भरने वाले) को (पानी भरने) भेजा ग़रज़ उसने अपना डोल डाला ही था (कि यूसुफ उसमें बैठे और उसने ख़ीचा तो निकल आए) वह पुकारा आहा ये तो लड़का है और काफला वालो ने यूसुफ को क़ीमती सरमाया समझकर छिपा रखा हालॉकि जो कुछ ये लोग करते थे ख़ुदा उससे ख़ूब वाकिफ था