فَاَشَارَتْ اِلَيْهِۗ قَالُوْا كَيْفَ نُكَلِّمُ مَنْ كَانَ فِى الْمَهْدِ صَبِيًّا ( مريم: ٢٩ )
Then she pointed
فَأَشَارَتْ
तो उसने इशारा कर दिया
to him
إِلَيْهِۖ
तरफ़ उसके
They said
قَالُوا۟
उन्होंने कहा
"How
كَيْفَ
किस तरह
(can) we speak
نُكَلِّمُ
हम कलाम करें
(to one) who
مَن
उससे जो
is
كَانَ
है वो
in
فِى
पंघोड़े में
the cradle
ٱلْمَهْدِ
पंघोड़े में
a child?"
صَبِيًّا
एक बच्चा
Faasharat ilayhi qaloo kayfa nukallimu man kana fee almahdi sabiyyan (Maryam 19:29)
Muhammad Faruq Khan Sultanpuri & Muhammad Ahmed:
तब उसने उस (बच्चे) की ओर संकेत किया। वे कहने लगे, 'हम उससे कैसे बात करें जो पालने में पड़ा हुआ एक बच्चा है?'
English Sahih:
So she pointed to him. They said, "How can we speak to one who is in the cradle a child?" ([19] Maryam : 29)