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وَيٰقَوْمِ اِنِّيْٓ اَخَافُ عَلَيْكُمْ يَوْمَ التَّنَادِۙ   ( غافر: ٣٢ )

And O my people!
وَيَٰقَوْمِ
और ऐ मेरी क़ौम
Indeed I
إِنِّىٓ
बेशक मैं
[I] fear
أَخَافُ
मैं डरता हूँ
for you
عَلَيْكُمْ
तुम पर
(the) Day
يَوْمَ
एक दूसरे को पुकारने के दिन से
(of) Calling
ٱلتَّنَادِ
एक दूसरे को पुकारने के दिन से

Waya qawmi innee akhafu 'alaykum yawma alttanadi (Ghāfir 40:32)

Muhammad Faruq Khan Sultanpuri & Muhammad Ahmed:

और ऐ मेरी क़ौम के लोगो! मुझे तुम्हारे बारे में चीख़-पुकार के दिन का भय है,

English Sahih:

And O my people, indeed I fear for you the Day of Calling – ([40] Ghafir : 32)

1 Suhel Farooq Khan/Saifur Rahman Nadwi

और ऐ हमारी क़ौम मुझे तो तुम्हारी निस्बत कयामत के दिन का अन्देशा है