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يَحْلِفُوْنَ لَكُمْ لِتَرْضَوْا عَنْهُمْ ۚفَاِنْ تَرْضَوْا عَنْهُمْ فَاِنَّ اللّٰهَ لَا يَرْضٰى عَنِ الْقَوْمِ الْفٰسِقِيْنَ  ( التوبة: ٩٦ )

They swear
يَحْلِفُونَ
वो क़समें खाऐंगे
to you
لَكُمْ
तुम्हारे लिए
that you may be pleased
لِتَرْضَوْا۟
ताकि तुम राज़ी हो जाओ
with them
عَنْهُمْۖ
उनसे
But if
فَإِن
फिर अगर
you are pleased
تَرْضَوْا۟
तुम राज़ी हो भी जाओ
with them
عَنْهُمْ
उनसे
then indeed
فَإِنَّ
तो बेशक
Allah
ٱللَّهَ
अल्लाह
(is) not pleased
لَا
नहीं वो राज़ी होता
(is) not pleased
يَرْضَىٰ
नहीं वो राज़ी होता
with
عَنِ
उन लोगों से
the people
ٱلْقَوْمِ
उन लोगों से
(who are) defiantly disobedient
ٱلْفَٰسِقِينَ
जो फ़ासिक़ हैं

Yahlifoona lakum litardaw 'anhum fain tardaw 'anhum fainna Allaha la yarda 'ani alqawmi alfasiqeena (at-Tawbah 9:96)

Muhammad Faruq Khan Sultanpuri & Muhammad Ahmed:

वे तुम्हारे सामने क़समें खाएँगे ताकि तुम उनसे राज़ी हो जाओ, किन्तु यदि तुम उनसे राज़ी भी हो गए तो अल्लाह ऐसे लोगो से कदापि राज़ी न होगा, जो अवज्ञाकारी है

English Sahih:

They swear to you so that you might be satisfied with them. But if you should be satisfied with them – indeed, Allah is not satisfied with a defiantly disobedient people. ([9] At-Tawbah : 96)

1 Suhel Farooq Khan/Saifur Rahman Nadwi

तुम्हारे सामने ये लोग क़समें खाते हैं ताकि तुम उनसे राज़ी हो (भी) जाओ तो ख़ुदा बदकार लोगों से हरगिज़ कभी राज़ी नहीं होगा