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وَلَمَّا جَاۤءَ اَمْرُنَا نَجَّيْنَا شُعَيْبًا وَّالَّذِيْنَ اٰمَنُوْا مَعَهٗ بِرَحْمَةٍ مِّنَّاۚ وَاَخَذَتِ الَّذِيْنَ ظَلَمُوا الصَّيْحَةُ فَاَصْبَحُوْا فِيْ دِيَارِهِمْ جٰثِمِيْنَۙ   ( هود: ٩٤ )

And when
وَلَمَّا
और जब
came
جَآءَ
आ गया
Our Command
أَمْرُنَا
फ़ैसला हमारा
We saved
نَجَّيْنَا
निजात दी हमने
Shuaib
شُعَيْبًا
शुऐब को
and those who
وَٱلَّذِينَ
और उनको जो
believed
ءَامَنُوا۟
ईमान लाए
with him
مَعَهُۥ
साथ उसके
by a Mercy
بِرَحْمَةٍ
साथ रहमत के
from Us
مِّنَّا
अपनी तरफ़ से
And seized
وَأَخَذَتِ
और पकड़ लिया
those who
ٱلَّذِينَ
उनको जिन्होंने
wronged
ظَلَمُوا۟
ज़ुल्म किया था
the thunderous blast
ٱلصَّيْحَةُ
चिंघाड़ ने
then they became
فَأَصْبَحُوا۟
तो उन्होने सुबह की
in
فِى
अपने घरों में
their homes
دِيَٰرِهِمْ
अपने घरों में
fallen prone
جَٰثِمِينَ
औंधे मुँह पड़े हुए

Walamma jaa amruna najjayna shu'ayban waallatheena amanoo ma'ahu birahmatin minna waakhathati allatheena thalamoo alssayhatu faasbahoo fee diyarihim jathimeena (Hūd 11:94)

Muhammad Faruq Khan Sultanpuri & Muhammad Ahmed:

अन्ततः जब हमारा आदेश आ पहुँचा तो हमने अपनी दयालुता से शुऐब और उसके साथ के ईमान लानेवालों को बचा लिया। और अत्याचार करनेवालों को एक प्रचंड चिंघार ने आ लिया और वे अपने घरों में औंधे पड़े रह गए,

English Sahih:

And when Our command came, We saved Shuaib and those who believed with him, by mercy from Us. And the shriek seized those who had wronged, and they became within their homes [corpses] fallen prone ([11] Hud : 94)

1 Suhel Farooq Khan/Saifur Rahman Nadwi

और जब हमारा (अज़ाब का) हुक्म आ पहुँचा तो हमने शुएब और उन लोगों को जो उसके साथ ईमान लाए थे अपनी मेहरबानी से बचा लिया और जिन लोगों ने ज़ुल्म किया था उनको एक चिंघाड़ ने ले डाला फिर तो वह सबके सब अपने घरों में औंधे पड़े रह गए