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اِذْ اَرْسَلْنَآ اِلَيْهِمُ اثْنَيْنِ فَكَذَّبُوْهُمَا فَعَزَّزْنَا بِثَالِثٍ فَقَالُوْٓا اِنَّآ اِلَيْكُمْ مُّرْسَلُوْنَ   ( يس: ١٤ )

When
إِذْ
जब
We sent
أَرْسَلْنَآ
भेजा हमने
to them
إِلَيْهِمُ
तरफ़ उनके
two (Messengers)
ٱثْنَيْنِ
दो को
but they denied both of them
فَكَذَّبُوهُمَا
तो उन्होंने झुठला दिया उन दोनों को
so We strengthened them
فَعَزَّزْنَا
तो क़ुव्वत दी हमने
with a third
بِثَالِثٍ
साथ तीसरे के
and they said
فَقَالُوٓا۟
तो उन्होंने कहा
"Indeed We
إِنَّآ
बेशक हम
to you
إِلَيْكُم
तरफ़ तुम्हारे
(are) Messengers"
مُّرْسَلُونَ
भेजे हुए हैं

Ith arsalna ilayhimu ithnayni fakaththaboohuma fa'azzazna bithalithin faqaloo inna ilaykum mursaloona (Yāʾ Sīn 36:14)

Muhammad Faruq Khan Sultanpuri & Muhammad Ahmed:

जबकि हमने उनकी ओर दो दूत भेजे, तो उन्होंने झुठला दिया। तब हमने तीसरे के द्वारा शक्ति पहुँचाई, तो उन्होंने कहा, 'हम तुम्हारी ओर भेजे गए हैं।'

English Sahih:

When We sent to them two but they denied them, so We strengthened [them] with a third, and they said, "Indeed, we are messengers to you." ([36] Ya-Sin : 14)

1 Suhel Farooq Khan/Saifur Rahman Nadwi

इस तरह कि जब हमने उनके पास दो (पैग़म्बर योहना और यूनुस) भेजे तो उन लोगों ने दोनों को झुठलाया जब हमने एक तीसरे (पैग़म्बर शमऊन) से (उन दोनों को) मद्द दी तो इन तीनों ने कहा कि हम तुम्हारे पास खुदा के भेजे हुए (आए) हैं