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يُعَذِّبُ مَنْ يَّشَاۤءُ وَيَرْحَمُ مَنْ يَّشَاۤءُ ۚوَاِلَيْهِ تُقْلَبُوْنَ   ( العنكبوت: ٢١ )

He punishes
يُعَذِّبُ
वो अज़ाब देता है
whom
مَن
जिसे
He wills
يَشَآءُ
वो चाहता है
and has mercy
وَيَرْحَمُ
और वो रहम करता है
(on) whom
مَن
जिस पर
He wills
يَشَآءُۖ
वो चाहता है
and to Him
وَإِلَيْهِ
और उसी की तरफ़
you will be returned
تُقْلَبُونَ
तुम लौटाए जाओगे

Yu'aththibu man yashao wayarhamu man yashao wailayhi tuqlaboona (al-ʿAnkabūt 29:21)

Muhammad Faruq Khan Sultanpuri & Muhammad Ahmed:

वह जिसे चाहे यातना दे और जिसपर चाहे दया करे। और उसी की ओर तुम्हें पलटकर जाना है।'

English Sahih:

He punishes whom He wills and has mercy upon whom He wills, and to Him you will be returned. ([29] Al-'Ankabut : 21)

1 Suhel Farooq Khan/Saifur Rahman Nadwi

जिस पर चाहे अज़ाब करे और जिस पर चाहे रहम करे और तुम लोग (सब के सब) उसी की तरफ लौटाए जाओगे