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بَلْ نَحْنُ مَحْرُوْمُوْنَ   ( القلم: ٢٧ )

Nay!
بَلْ
बल्कि
We
نَحْنُ
हम
(are) deprived"
مَحْرُومُونَ
महरूम कर दिए गए हैं

Bal nahnu mahroomoona (al-Q̈alam 68:27)

Muhammad Faruq Khan Sultanpuri & Muhammad Ahmed:

नहीं, बल्कि हम वंचित होकर रह गए।'

English Sahih:

Rather, we have been deprived." ([68] Al-Qalam : 27)

1 Suhel Farooq Khan/Saifur Rahman Nadwi

(ये हमारा बाग़ नहीं फिर ये सोचकर बोले) बात ये है कि हम लोग बड़े बदनसीब हैं